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विपक्ष के विधायक शिवरतन शर्मा ने दोषी अधिकारियों पर निलंबन की कार्रवाई को नाकाफी बताते हुए एफआईआर की मांग की. पूर्व नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने कहा कि प्रदेश भ्रष्टाचार का गढ़ बन चुका है, कौशिक के बयान पर सत्ता पक्ष के मंत्री और विधायक बिफर पड़े. सत्ता पक्ष से तीखी बहस के बीच पीएचई मंत्री के जवाब से असंतुष्ट विपक्ष ने वॉकआउट किया.
खुदाई के बाद नहीं भरे गड़्ढे
इसके पहले सिहावा विधायक लक्ष्मी ध्रुव ने नल-जल योजना के तहत पानी टंकी निर्माण का मामला उठाया. उन्होंने कहा कि जितनी भी टंकी और पाइप लाइन के काम में सड़कों की खुदाई हुई है, वहां गड्ढों को सही तरीके से नहीं भरा गया है, जिससे हादसे हो रहे हैं. कई गांवों में सूखे की स्थिति है, वहां नलों से पानी की मांग की.
मंत्री ने दिए अधिकारियों को निर्देश
पीएचई मंत्री रूद्र गुरू ने सदन से ही अधिकारियों को सड़कों की मरम्मत के निर्देश दिए, इसके साथ ही गांवों में भी पानी पहुंचाने का आश्वासन दिया. विधायक अजय चंद्राकर ने गांवों में पानी सप्लाई का भौतिक सत्यापन करने की मांग रखी, इस पर मंत्री ने सदन में भौतिक सत्यापन कराने की मौखिक स्वीकृति दी.
तेंदुपत्ता खरीदी पर उठाया सवाल
प्रश्नकाल के दौरान सदन में प्रदेश में तेंदूपत्ता खरीदी का मामला उठा. बीजेपी विधायक सौरभ सिंह ने सवाल. पिछले 3 वित्तीय वर्ष और वर्तमान वितीय वर्ष में 6 फरवरी 2023 तक प्रदेश में कुल कितनी तेंदुपत्ता की खरीदी हुई? प्रतिवर्ष उन पत्तो का कितना भुगतान किया गया है?पत्तो की नीलामी के बाद छत्तीसगढ़ लघु वनोपज संघ को कितना राजस्व का लाभ व कितना नुकसान हुआ है?
वन मंत्री मोहम्मद अकबर ने बताया कि वर्ष 2019-20 में 602.24 करोड़, वर्ष 2020-21 में 389.15 करोड़, वर्ष 2021-22 में 522.20 करोड़ और वर्ष 2022-23 में 631.76 करोड़ की खरीदी हुई है.
4 साल में सिर्फ 5 प्रतिशत ग्रोथ
सौरभ सिंह ने इस पर सवाल किया कि 4 सालों में सिर्फ 5 प्रतिशत ही ग्रोथ कैसे हुआ. मंत्री मोहम्मद अकबर ने कहा- तेंदूपत्ता जीतना उगेगा उसी मुताबिक उसकी खरीदी बिक्री होगी. नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में भी समितियों के जरिए संग्रहण हो रहा है. सौरभ सिंह ने कहा कि लघु वनोपज संघ 1 रुपये का कमीशन लेकर काम करती है तो संग्रहण केंद्रों में नुकसान की भरपाई कैसे होती है? मंत्री मोहम्मद अकबर ने कहा कि लाभ का 15 प्रतिशत नुकसान वाली समितियों को दिया जाता है.
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