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अनमोल – अमोल पालेकर ( प्रस्तुति रवि के ग़ुरूबक्षाणी )

अमोल पालेकर के बारे में सोचते ही ‘गोलमाल’ याद आती है. छोटा कुर्ता, राम श्याम और नकली मूंछें. फिर वो डायलॉग कि ‘कबीर को पढ़ने-पढ़ाने [more…]