विद्युतीकरण से लाइन हॉल की लागत 2.5 गुनी तक कम हो जाएगी
नई दिल्ली (IMNB). 2030 तक नेट जीरो कार्बन इमिटर यानी शून्य कार्बन उत्सर्जक का लक्ष्य हासिल करने के क्रम में, भारतीय रेल ने छत्तीसगढ़ में ब्रॉड गेज के मौजूदा नेटवर्क का 10 प्रतिशत विद्युतीकरण कर दिया है। 1,170 किमी रूट के विद्युतीकरण के परिणाम स्वरूप लाइन हॉल लागत घटने (लगभग 2.5 गुनी कम), भारी हॉलेज क्षमता, सेक्शनल क्षमता बढ़ने, इलेक्ट्रिक लोको की परिचालन और रखरखाव लागत घटने, ऊर्जा दक्षता और आयातित कच्चे तेल पर निर्भरता घटने से पर्यावरण अनुकूल परिवहन माध्यम बनने से विदेशी मुद्रा की बचत हो रही है। इसके अलावा, रेलवे की 100 प्रतिशत विद्युतीकृत नेटवर्क की नीति के क्रम में अब विद्युतीकरण के साथ ही नए ब्रॉड गेज नेटवर्क को मंजूरी दी जाएगी।
छत्तीसगढ़ राज्य का क्षेत्र साउथ ईस्ट सेंट्रल और ईस्ट कोस्ट रेलवे के अधिकार क्षेत्र में आता है। बिलासपुर, रायपुर, दुर्ग और कोरबा आदि छत्तीसगढ़ के कुछ प्रमुख रेलवे स्टेशन हैं। बिलासपुर छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा रेलवे स्टेशन है और मुंबई-हावड़ा मुख्य लाइन पर स्थित है। यह एक महत्वपूर्ण जंक्शन है और मुंबई, दिल्ली, कोलकाता, चेन्नई, हैदराबाद और बेंगलुरु जैसे प्रमुख शहरों को जोड़ता है। छत्तीसगढ़ राज्य में देश में सबसे अधिक माल ढुलाई होती है और यहां से रेलवे को अधिक राजस्व प्राप्त होता है। रेल नेटवर्क छत्तीसगढ़ से देश के अन्य हिस्सों में खनिजों, कृषि उत्पादों और अन्य सामानों के परिवहन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
छत्तीसगढ़ राज्य की कुछ प्रतिष्ठित ट्रेनें हैं: दुर्ग-जगदलपुर एक्सप्रेस, छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस, समता एक्सप्रेस, कलिंग उत्कल एक्सप्रेस। ये ट्रेनें राज्य के विभिन्न हिस्सों और भारत के अन्य प्रमुख शहरों के लिए सुविधाजनक संपर्क प्रदान करती हैं।
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